भारतीय धार्मिक एकता परिषद के राष्ट्रीयअध्यक्ष मुकेश पाण्डेय ने  उत्तराखंड की कार्यकारिणी घोषित करते हुए उद्देश्य बताए।

धार्मिक राजनीति राष्ट्रीय

पूजा पद्धति तो भिन्न-भिन्न हो सकती है लेकिन भारत में रहने वाले सभी धर्मालंबियों हिन्दू,जैन बौद्ध या सिख सभी की सोच समझ संस्कृति एक जैसी है।यह बात भारतीय धार्मिक एकता परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुकेश पाण्डेय ने कही जब उन्होंने प्रेस क्लब हरिद्वार में पत्रकारों से वार्ता करते हुए कही

  उन्होंने उत्तराखंड के पदाधिकारियों की घोषणा की।
रजिं के राष्ट्रीय महासचिव दीपक काठिवान से प्रेस / मीडिया को संबोधित करते हुए बताया कि माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री मुकेश पांडे जी के आदेशानुसार पूर्व सैनिक भी राजेन्द्र जजेडी को अध्यक्ष , पूरण प्रसाद भद्री को उत्तराखंड का प्रदेश उपाध्यक्ष व मनीष शर्मा को प्रदेश संगठन बनाया गया | वहीं श्रीमती सरोजिनी बिष्ट को भारतीय धार्मिक एकता परिषद रजि महिला विंग का प्रदेश अध्यक्ष , रजनीश कुमार को युवा विंग प्रदेश अध्यक्ष तथा राहुल कुमार झा को प्रदेश महासचिव बनाया गया।


राष्ट्रीय अध्यक्ष ने संगठन के उद्देश्यों के बारे में बताते हुए कहा उत्तराखंड में उनका मुख्य लक्ष्य हरिद्वार सहित धार्मिक स्थलों को अतिक्रमण मुक्त करना, गंगा संरक्षण पर ध्यान आकर्षित करना तथा जो लोग अपना नाम और धर्म छुपा कर गंगा किनारे व्यवसाय कर रहे हैं उन्होंने कहा
मां गंगा के पवित्र हर की पौड़ी व अन्य प्रमुख घाटों के आसपास खाने-पीने की सैकड़ो दुकान व ठेले हैं की पहचान अथवा जाम स्पष्ट नहीं है ज्यादातर लोगों के पास फूड लाइसेंस भी नहीं है ज्यादातर लोगों देरीफिकेशन भी नहीं हो रखा है कि यह लोग कहां से आए हैं कौन है।कुछ दिन पहले गंगा मठासभा के कुछ पदाधिकारी द्वारा ऐसे लोगों की पहचान हुई है जो हिंदू नाम रखा का काम कर रहे थे पर वह मुस्लिम थे जीवन ठाहिली मा गंगा हमारी आस्था का केंठ है उसकी सुंठस्त और हमारी सनातन सभ्यता के साथ कोई भी खिलवाड़ करेगा वह बर्दाश्त नहीं किया जाए‌गा। इस अवसर पर महामंत्री दीपक काठियान, उपाध्यक्ष सचिन चपराना, मंजीत रावत,अजय कौशिक आदि सहित प्रदेश कार्यकारिणी के लोग उपस्थित थे।

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