झाड़ियां में मिली 6- 7 दिन की बच्ची के स्वास्थ्य में अब सुधार हो रहा है बागेश्वर पुलिस उसके बारे में पता कर रही है। सोमवार की सुबह कोतवाली अंतर्गत कठायतबाड़ा क्षेत्र में गधेरे के पास एक नवजात बच्ची कड़ाके की ठंड में लावारिस हालत में पॉलीथिन में लिपटी रखी मिली। सुबह मंदिर जा रही महिलाओं ने बच्ची के रोने की आवाज सुनी तो बच्ची को उठाया और पुलिस को इसकी सूचना दी। पुलिस ने नवजात को जिला अस्पताल में भर्ती कराया जहां उसकी हालत में सुधार है। बच्ची को किसने और क्यों छोड़ दिया इसका पता लगाया जा रहा है।
माघ मास के पहले सोमवार की सुबह ठाकुरद्वारा क्षेत्र की कुछ महिलाएं पूजा के लिए मंदिर जा रही थीं। तभी उन्हें नरसिंह मंदिर के पास शिशु के रोने की आवाज सुनाई दी। इस पर स्थानीय महिला गीता पांडे रोने की आवाज की ओर गई तो देखा कि एक बच्ची को पॉलीथिन में लपेटकर गधेरे के पास रखा गया था। महिलाओं ने बच्ची को उठाया और पुलिस को इसकी सूचना दी। सूचना मिलते ही कोतवाल कैलाश नेगी व वरिष्ठ उपनिरीक्षक खष्टी बिष्ट वहां पहुंचे और बच्ची को जिला अस्पताल पहुंचाया। जहां उसे न्यू बॉर्न बेबी वार्ड में रखा गया है। चिकित्सकों केअनुसार बच्ची की उम्र छह से सात दिन है तथा उसके स्वास्थ्य में सुधार हो रहा है।
नवजात के गधेरे में मिलने के बाद पुलिस उसकी मां का पता लगाने में जुट गई है। इसके लिए स्थानीय एएनएम के साथ ही जिला अस्पताल में बीते दिनों जन्मी कन्याओं का विवरण मांगा जा रहा है।
पुलिस ने बच्ची को अपने संरक्षण में लेकर जिला अस्पताल पहुंचाया। जिसके बाद चाइल्ड हेल्प लाइन बागेश्वर की टीम भी अस्पताल पहुंची। यहां बच्ची को डा. दिपाली मकवाना के देख रेख में अगले 24 घंटे के लिए रखा गया है। डा. मकवाना का कहना है कि बच्ची अभी स्वस्थ है। उसे दूध की आवश्यकता है। साथ ही ठंड से भी बच्ची को बचाना है। जिसके लिए उसे सुरक्षित वार्ड में रखा गया है। चाइल्ड हेल्प लाइन बागेश्वर की टीम ने बताया कि डॉक्टर की सलाह के बाद बच्ची को अल्मोड़ा शिशु सदन भेजा जाएगा। इधर मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस मौके पर पूछताछ कर रही है। हालांकि देर शाम तक बच्चा किसने रखा और क्यों रखा इस बात की पुष्टि नहीं हो पाई है। जबकि इस प्रकार एक स्वस्थ बच्चे के छोड़ने से लोगों में काफी चर्चा हो रही है।
