शराब पीकर झगड़ा कर मौत के घाट उतारा , निर्दोष को फंसाने की साजिश रची,हरीद्वार पुलिस ने सुलझाई अधजले शव की गुत्थी ।

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हरीद्वार पुलिस ने अधजले शव की गुत्थी सुलझाते हुए दो हत्या आरोपियों को गिरफ्तार किया।थाना श्यामपुर में 3 नवंबर को उमेश्वर धाम के सामने कांगडी में पुलिस को एक अज्ञात पुरुष का अधजला शव सडक किनारे पडा हुआ मिला था। काफी प्रयास करने पर मृतक की पहचान गोपाल पुत्र शंकरलाल निवासी महमूद खान सराय जनपद सम्भल उ0प्र0, हाल निवासी- ग्राम कांगड़ी थाना श्यामपुर जनपद हरिद्वार उम्र 33 वर्ष के रुप में मृतक की पत्नी अनिता द्वारा की गई। मृतक के भाई नीरज कुमार की लिखित तहरीर पर थाना श्यामपुर पर अज्ञात के खिलाफ हत्या का मुकदमा मु0अ0सं0-124/2024 धारा 103(1) बी.एन.एस. दर्ज किया गया था।

पुलिस द्वारा की गई जांच में पता चला कि 02.11.2024 की सुबह 03 व्यक्ति मो0सा0 पर कांगड़ी शराब के ठेके पर आते हैं। उक्त बाइक सवार युवकों में मृतक गोपाल भी सम्मिलित था जिससे अन्य दो व्यक्तियो की बहस बाजी व खींचातानी होना सामने आया। ठेका कर्मचारीगण से पूछताछ में मृतक से झगड़ रहे युवकों की पहचान रविन्द्र व मोहित के रुप में हुई।

दोनों ही युवक शराब पीने के आदी थे लेकिन रविन्द्र के बारे में जानकारी करने पर उसकी आम छवि बेहद खराब होना प्रकाश में आया। रविन्द्र अक्सर नशे में बुजुर्गों/बड़ों से बदतमीजी करता था और ज्यादा नशे में होने पर कभी किसी के छिटपुट पैसे भी निकाल लेता था। दोनों संदिग्धों की तलाश करने के भरसक प्रयास किये गये परन्तु दोनों अपने ठिकाने बार-बार बदलकर छुप रहे थे। इसी बीच दिनाँक 05.11.2024 को थाना श्यामपुर पुलिस को मिले इनपुट पर पुलिस टीम ने भागने की फिराक में तैयार, दोनों आरोपियों को घटना में प्रयुक्त मोटरसाइकिल सहित थाना श्यामपुर क्षेत्रांतर्गत कांगडी से दबोच लिया।

पूछताछ में। दोनों आरोपियों ने बताया दिनांक 02.11.2024 को मृतक गोपाल के साथ शराब पी और नशा ज्यादा होने पर मृतक की हत्या भी उन दोनों ने ही की है। पूछताछ में उन्होंने ठेके के बराबर में खोका लगाकर नमकीन, सोडा आदि छुटपुट सामान बेचने वाले राजन नामक व्यक्ति के भी हत्या में शामिल होने की बात कही। लेकिन पुलिस द्वारा निष्पक्ष जांच करने पर सभी बातें झूठी साबित हुईं और एक निर्दोष को जेल जाने से बचाया जा सका।
मृतक की अपनी पत्नी से अनबन होने के कारण मृतक कई महीनो बाद अपने घर जाता था। इस कारण उसकी पत्नी घर की जरूरत के हिसाब से अभियुक्त रविंदर, जिसकी एक परचूनी की दुकान है, से घरेलू सामान ले लिया करती थी जिसका कुछ रुपया अभी बकाया था जिस कारण रविन्दर अक्सर उसकी पत्नी को टोकता था जिसको लेकर वह गोपाल

हत्या के दिन गोपाल के पास पांच सौ के नोटों में लगभग 18 से 20 हजार की नगदी पड़ी हुई थी। नशा होने पर जब मृतक गोपाल ने रविन्द्र और मोहित को उसकी को टोके जाने पर गालियां दीं तो गुस्से और नगदी के लालच में दोनों ने गोपाल को ठिकाने लगाने का विचारकर गाली गलौज शुरू कर दी और मौका देखकर पहले अभियुक्त रविन्दर द्वारा गोपाल को मुख्य सड़क से धक्का देकर नीचे गिराया फिर नीचे झाड़ियां के पास गिरे गोपाल तक पहुंचकर दोनों ने गला दबाकर उसकी हत्या कर दी। दोनों ने मिलकर गोपाल के पैसे और आधार कार्ड चुरा लिया और ये सोचकर कि गोपाल यहां का रहने वाला नही है इसलिए अगर इसकी पहचान छुपा देंगे तो कोई पहचान नहीं पाएगा तब पहचान मिटाने के लिए शराब छिड़ककर लाश को आग लगा दी। आग की ऊंची लपटें देखकर उन्हें लगा कि शरीर पूरा जल जाएगा और पहचान छुप जाएगी इसलिए वो दोनों मृतक के बैग से आधार कार्ड और नगदी लेकर वहां से भाग गए।

दोनों हत्यारोपियों से पूछताछ करने पर सामने आया कि पकड़े जाने पर दोनों ने राजन का नाम बस इस वजह से लिया क्योंकि राजन की वित्तीय हालत इन दोनों से काफी बेहतर थी इसलिए इनका सोचना था कि जेल चले गए तो जमानत लेने के लिए राजन एक सीढ़ी साबित हो सकता है।

पकड़े गए आरोपियों के नाम रविन्द्र पुत्र स्व० ओमप्रकाश निवासी ग्राम कांगडी थाना श्यामपुर जनपद हरिद्वार (आठवीं फेल है और जोमैटो, देहरादून में काम कर चुका है)
मोहित पुत्र प्रभु दयाल निवासी ग्राम कांगडी थाना श्यामपुर जनपद हरिद्वार (पांचवी पास है जो 7-8 साल से ग्रीन पंजाबी ढाबा, श्यामपुर में काम कर रहा है

पुलिस टीम में

1- CO जूही मनराल

2- S.O. श्यामपुर नितेश शर्मा

3- S.I. विक्रम सिंह बिष्ट (प्रभारी चौकी चण्डीघाट)

4- SI अंजना चौहान

5- ASI इरशाद

6- ASI रणजीत चौहान

7- HC अनिल कुमार

8- C. सुशील चौहान

9- C. राजेंद्र नेगी

10- C. रमेश सिंह

11- C. अनिल रावत

12- C. वसीम (CIU हरिद्वार)
सम्मिलित रहे।

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