कलयुग में धर्म-शास्त्र ही दिखाते हैं सद् मार्गं-स्वामी संतोषी माता
मोह माया से मुक्ति दिलाती है श्रीमद् देवी भागवत कथा- श्रवणानंद सरस्वती
1200 ब्राह्मणों ने किया विभिन्न पुराणों का पारायण,
महिषासुर मर्दिनी मंदिर में श्री यंत्र की स्थापना कि दक्षिण के ब्राह्मणों ने,
हरिद्वार।
कनखल संन्यास रोड़ स्थित संतोषी माता आश्रम में नौ दिवसीय श्रीमद् देवी भागवत पुराण कथा ज्ञान यज्ञ समारोह एवं संन्यास स्वर्ण जयंती समारोह संपन्न हो गया। आज श्रीमद् देवी भागवत पुराण का समापन हुआ और आरती के साथ यह ज्ञान यज्ञ समारोह संपन्न हुआ। इस अवसर पर दक्षिण से आए कर्मकांडी विद्वान ब्राह्मणों ने अनुष्ठान के साथ महिषासुर मर्दिनी मंदिर में श्री यंत्र की स्थापना की।
कथावाचक स्वामी श्रवणानंद सरस्वती महाराज वृंदावन वालों ने कहा कि श्रीमद् देवी भागवत पुराण कथा मनुष्य को मोह माया से मुक्ति दिलाती है। मनुष्य मायावी संसार में फंसा हुआ है और अहंकार में डूबा हुआ है।
महामंडलेश्वर स्वामी संतोषी माता ने कहा कि कलयुग में धर्मशास्त्र ही मनुष्य को सद् मार्ग दिखाते हैं। इस अवसर पर महामंडलेश्वर स्वामी संतोषी माता ने कहा कि देवी मां सबका कल्याण करती है वह करुणामयी है।
मुख्य यजमान श्यामसुंदर अग्रवाल, ईश्वर अग्रवाल, सरोज अग्रवाल, अशोक शांडिल्य, राधिका नागरथ, बसंत आदि उपस्थित थे।